Skip to main content

घर पर घरेलू खाद बनाने के लिए आप निम्लिखित तरीकों का उपयोग कर सकते हैं

  खाद बनाने के लिए आप अपने घर से रसोई का कचरा, पत्ते और अन्य जैविक पदार्थ का उपयोग कर सकते हैं 1. -  सबसे पहले, एक बड़े कंटेनर में किचन के अवशेष और पत्ते डालें। 2.- इसमें थोड़ा पानी मिलायें और अच्छी तरह से मिलायें। 3.- इस मिश्रा को 2-3 महीने तक रख दें, जब तक ये एक समृद्ध, काली मिट्टी में बदल न जाए। 4.- अब आपका कंपोस्ट तैयार है, जिसे आप अपने पौधों में उपयोग कर सकते है 1.   केले के छिलके की खाद - 1. - केले के छिलके की खाद बनाने के लिए आप छिलके का उपयोग करते हैं। 2.- सबसे पहले, केले के छिल्के को सुखाएं। 3.- इसके बाद, इसके छिल्के को पाउडर बना लें। 4.- अब आप इस पाउडर को अपने पौधों में उपयोग कर सकते हैं 2 . खाद डालने के लिए स्टेप्स- पौधों में हैंड कल्टीवेटर (Hand Cultivator) से खाद डालने के लिए ये स्टेप्स फॉलो करें पौधों को साफ करें पौधों में से पत्ते, टहनियाँ और अन्य अवकाश निकाल लें पौधों में हैंड कल्टीवेटर (Hand Cultivator) को डालें और उसको आगे-पीछे करें । ₹150 BUY NOW पौधों में खाद डालने से पहले,पौधों की मिट्टी को थोड़ा गीला कर लें। इस खाद को मिलना आसान होगा। पौधों में खाद ड...

घर पर घरेलू खाद बनाने के लिए आप निम्लिखित तरीकों का उपयोग कर सकते हैं

 खाद बनाने के लिए आप अपने घर से रसोई का कचरा, पत्ते और अन्य जैविक पदार्थ का उपयोग कर सकते हैं

1.- सबसे पहले, एक बड़े कंटेनर में किचन के अवशेष और पत्ते डालें।
2.- इसमें थोड़ा पानी मिलायें और अच्छी तरह से मिलायें।
3.- इस मिश्रा को 2-3 महीने तक रख दें, जब तक ये एक समृद्ध, काली मिट्टी में बदल न जाए।
4.- अब आपका कंपोस्ट तैयार है, जिसे आप अपने पौधों में उपयोग कर सकते है





1. केले के छिलके की खाद -

1. - केले के छिलके की खाद बनाने के लिए आप छिलके का उपयोग करते हैं।
2.- सबसे पहले, केले के छिल्के को सुखाएं।
3.- इसके बाद, इसके छिल्के को पाउडर बना लें।
4.- अब आप इस पाउडर को अपने पौधों में उपयोग कर सकते हैं


2. खाद डालने के लिए स्टेप्स-

  1. पौधों में हैंड कल्टीवेटर (Hand Cultivator) से खाद डालने के लिए ये स्टेप्स फॉलो करें
  2. पौधों को साफ करें पौधों में से पत्ते, टहनियाँ और अन्य अवकाश निकाल लें
  3. पौधों में हैंड कल्टीवेटर (Hand Cultivator) को डालें और उसको आगे-पीछे करें ।

₹150 BUY NOW

पौधों में खाद डालने से पहले,पौधों की मिट्टी को थोड़ा गीला कर लें। इस खाद को मिलना आसान होगा।पौधों में खाद डालने के बाद, पौधों की मिट्टी को अच्छी तरह से दबायें।  इस पौधों की मिट्टी को कॉम्पैक्ट करने में मदद मिलेगी।

1.मिट्टी की उर्वरता में सुधार करें:-  मिट्टी को ढीला करने से कार्बनिक पदार्थ और पोषक तत्वों को मिलाने में मदद मिल सकती है, जिससे मिट्टी की उर्वरता में सुधार होता है।

2.ऑक्सीजनेशन बढ़ाएँ:- मिट्टी को ढीला करने से हवा जड़ों तक पहुँचती है, जिससे स्वस्थ पौधे की वृद्धि को बढ़ावा मिलता है।

3.जल निकासी में सुधार:- जमी हुई मिट्टी को तोड़कर, पानी मिट्टी में गहराई तक प्रवेश कर सकता है।

4. बढ़ते मौसम के दौरान:- मिट्टी के स्वास्थ्य को बनाए रखने और पौधों की वृद्धि को बढ़ावा देने के लिए नियमित रूप से मिट्टी को ढीला करें।

Comments

Popular posts from this blog

अगर पौधे नहीं बढ़ रहा है तो आज ही करें ये काम - समय पर खाद डालना आवश्यक है,ताकि पौधों को आवश्यक पोषक तत्व मिल सकें।

  तो चलिए जानते हैं डिटेल में - तेज धूप में झुलस रहे हैं पौधे और नहीं हो रही ग्रोथ तो अपनाएं ये टिप्स- गर्मी में तेज धूप हर किसी को झुलसा रही है, ऐसे में पौधों को हरा रखना भी एक टास्क होता है, लेकिन ऐसा नहीं है कि गर्मी में पौधे नहीं लगाए जा सकते हैं, तो चलिए जान लेते हैं कि कैसे घर की बगिया में लगे पौधों को हरा-भरा इस उमस भरी गर्मी में भी हरा-भरा रखा जा सकता है.

पौधों में पानी देते वक्त ध्यान रखे ये बातें-

1.  पौधों में पानी देते वक्त ध्यान रखे ये बातें- गर्मी के दिनों में पानी का वाष्पीकरण तेजी से होता है, इसलिए पौधों में सुबह और शाम दो टाइम पानी लगाएं,  हालांकि इस बात का ध्यान रखें कि  सुबह तेज धूप निकलने से पहले पौधों में पानी डाल दें और शाम को भी जब सूरज ढल जाए और मौसम थोड़ा ठंडा हो जाए तब पौधों में पानी डालें ,  आप धीमी गति से पानी छोड़ने वाली प्रणाली वाली बोतल का उपयोग करके गमलों में पौधों को पानी देने की प्रक्रिया का उपयोग कर सकते हैं।   जिसे अक्सर  "स्व-पानी"  या  "ड्रिप सिंचाई"  कहा जाता है। यह इस प्रकार काम करता है- 3. बोतल ड्रिप सिंचाई के लाभ- 1.पानी की बर्बादी : -  यह विधि पानी की बर्बादी को कम करती है और यह सुनिश्चित करती है कि पौधों को सही मात्रा में नमी मिले। 2.कम वाष्पीकरण : -  पानी का धीरे-धीरे निकलना वाष्पीकरण को कम करता है, जिससे जड़ों तक अधिक पानी पहुँचता है। 3. बार-बार पानी देना:-  इस प्रणाली से पौधों को कई दिनों तक पानी दिया जा सकता है, जिससे बार-बार पानी देने की आवश्यकता कम हो जाती है 4.  बोतल ड्र...